देहरादून। अंकिता भंडारी हत्याकांड की सीबीआई जांच कराए जाने सहित विभिन्न मुद्दों को लेकर महिला कांग्रेस की सैकडों महिला कार्यकर्ताओं ने राज्य व केन्द्र सरकार के नीतियों के खिलाफ के साथ मुख्यमंत्री आवास का घेराव किया। इस दौरान महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष ज्योति रौतेला एवं महामंत्री शिवानी थपलियाल मिश्रा ने मुंडन करवा लिया। पुलिस ने सभी महिला प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर लिया जिन्हे पुलिस लाईन ले जाया गया।
कहा कि कांग्रेस उत्तराखंड की बेटी अंकिता भंडारी हत्याकांड की जांच सीबीआई से कराए जाने की मांग लगातार राज्य व केन्द्र सरकार से करती आ रही है परन्तु आजतक उनके परिवार को न्याय नही मिल पाया है। अंकिता भंडारी कांड में वीआईपी का नाम अभीतक उजागर नही हो पाया।
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि अंकिता हत्याकांड मानवता के लिए शर्मसार करने वाला तथा देवभूमि की अस्मिता को कलंकित करने वाली घटना है जिसके लिए दोषियों को फांसी की सजा दी जानी चाहिए तथा बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का नारा देने वाली भाजपा सरकार में महिलाओं पर अत्याचार की घटनायें लगातार बढती जा रही हैं। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि सत्ता में बैठी ताकतें देश के सर्वधर्म संभाव को कमजोर करने का प्रयास कर रही हैं।
इस अवसर पर पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि उत्तराखंड में कानून व्यवस्था नाम चीज नही है जहां तहां आये दिन महिलाओं के साथ अत्याचार किये जा रहे हैं और उन्हें न्याय दिये जाने के बजाय उनका और अधिक उत्पीड़न किया जा रहा है। राज्य सरकार विकास के नाम पर डुगडुगी पीट रही है परन्तु विकास कहीं दिख नही रहा है। उन्होंने कहा सरकार के नाक के नीचे राजधानी देहरादून के सड़कों पर एक-एक फीट के गड्डे देखे जा सकते हैं। आये दिन रोज कोई ना कोई घटना हो रही है। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार ने देश की सार्वजनिक संपत्तियों को बेचकर अपने चहेते लोगों को बांट दिए है।
भाजपा सरकार के नीतियों के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष ज्योति रौतेला एवं महामंत्री शिवानी थपलियाल मिश्रा ने अंकिता भण्डारी को न्याया दिए जाने के लिए मुंडन करवाकर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन में मथुरा दत्त जोशी, महामंत्री विजय सारस्वत, पूर्व विधायक संजीव आर्य, मुख्य प्रवक्ता गरिमा माहरा दसौनी, महानगर अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर सिंह गोगी, दर्शन लाल, मोहित उनियाल, सुशीला बेलवाल, शीशपाल सिंह बिष्ट, राजेश चमोली, मुकेश नेगी, प्रदीप थपलियाल, महन्त विनय सारस्वत, आदि सैकड़ों महिलाएं शामिल थीं।