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हाईकोर्ट पहुंची रुद्रपुर मजार ध्वस्तीकरण की गूंज

हाईकोर्ट पहुंची रुद्रपुर मजार ध्वस्तीकरण की गूंज

मिट्टी शिफ्ट करने के कोर्ट ने दिए आदेश, मांगा ब्यौरा

1960 से दरगाह के रूप में दर्ज है यह मजार

डीएम व एसएसपी उधमसिंहनगर हाईकोर्ट में हुए पेश

दो लोगों को मिट्टी ले जाने के लिए किया गया नियुक्त

मजार की भूमि के लिए एनएसएआई दे चुका है मुआवजा

उत्तराखण्ड के रुद्रपुर में एनएचपर मजार ध्वस्तीकरण के खिलाफ मेंशन की गई पुरानी याची में एकलपीठ ने याची से कहा कि 24 घंटे के भीतर दो सदस्यों और मिट्टी शिफ्ट करने की भूमि का पूर्ण ब्यौरा मुहैय्या कराएं। न्यायालय ने यू.एस.नगर जिला प्रशासन से कहा कि तब तक मजार के ऊपर वाहनों की आवाजाही पर रोक लगाई जाए। मामले की अगली सुनवाई कल बुधवार की दोपहर में होगी।

उधम सिंह नगर जिले के रुद्रपुर में इंदिरा चौक के समीप बनी सैय्यद मासूम शाह मिया और सज्जाद मिया की मजार को प्रशासन ने सोमवार तड़के सवेरे बुलडोजर की मदद से हटा दिया। यह कदम प्रस्तावित आठ लेन हाईवे परियोजना को अमली जामा पहनाने के लिए बताया जा रहा है। एनएचएआई (भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण)ने पहले ही संबंधित पक्ष को नोटिस जारी कर जानकारी दी थी। मजार को हटाने के लिए बुलडोजर लगाए गए और चंद घंटों में ही वहां समतल मैदान कर दिया गया।

मंगलवार को मामले को लेकर याचिकाकर्ता वक्फ अल्लाह ताला की तरफ से अधिवक्ता खान ने मेंशन किया, जिसे न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की एकलपीठ ने लंच के बाद सुना। सुनवाई के दौरान उधम सिंह नगर के जिलाधिकारी और एस.एस.पी.ऑनलाइन उपस्थित हुए। उच्च न्यायालय में एनएच से मजार हटाने को लेकर पहले से सुनवाई चल रही है।

जिलाधिकारी ने न्यायालय को बताया कि इस दरगाह का नाम हज़रत मासूम साह दरगाह था। ये भूमि वक्फ की भूमि नहीं है। कहा कि बीती दस फरवरी को एनएच ने 60 दिन पहले नोटिस दिया था और फिर दोबारा नोटिस देकर ये कार्यवाही की। ये 1960 से सड़क की दरगाह के रूप में दर्ज है। खसरा बनाने पर ये मजार दर्ज की गई थी। इसका नियमानुसार मुआवजा दिया गया है।

न्यायमूर्ति थपलियाल ने सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता से कहा कि वो दो लोगों की आधार कार्ड, फ़ोटो, ईमेल, फोन नंबर समेत सम्पूर्ण जानकारी दें जो मिट्टी लेकर जाएंगे। इसके अलावा 24 घंटे में शपथपत्र देकर बताएं कि वो इस मिट्टी को कहां स्थापित करेंगे ? अधिवक्ता खान ने कहा कि प्रशासन ने मजार ध्वस्त कर वहां कोलतार बिछा दिया और वहां ट्रैफिक चलने लगा है।

कहा कि बीती रात तक वहां ट्रैफिक नहीं चल रहा था और तड़के सवेरे ध्वस्तीकरण के बाद ट्रैफिक चल गया। इसपर न्यायालय ने जिलाधिकारी और एसएसपी से डामरीकरण रोकने के साथ ही उक्त स्थल के ऊपर से ट्रैफिक की आवाजाही बन्द करने को कहा। सरकारी अधिवक्ता राजीव बिष्ट ने न्यायालय को बताया कि इस स्थल से दो हाइवे क्रॉस करते हैं। इससे ट्रैफिक की मुश्किलें हो रही हैं।

उत्तराखण्ड के प्रवेश द्वार पर बनी मजार ध्वस्त

उधमसिंहनगर। उत्तराखण्ड के प्रवेश द्वार रुद्रपुर के इंदिरा रोड पर बनी अवैध मजार को राष्ट्रीय राजमार्ग और जिला प्रशासन की टीम ने हटा दिया। इस मजार को हटाने से पहले नोटिस जारी किया गया था। जिसे मंगलवार तड़के ध्वस्त कर दिया गया है।

जानकारी के अनुसार एक ही नाम की कई मजारे होने की सर्वे रिपोर्ट और राष्ट्रीय राजमार्ग के चौड़ीकरण में बाधक होने की वजह से इस मजार को हटाए जाने की कवायद पिछले कई दिनों से चल रही थी। इस नाम से यूपी में कई स्थानों पर अवैध मजारे है।

मंगलवार तड़के की गई प्रशासनिक कार्रवाई में इस अवैध संरचना को हटाकर राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण ने मार्ग चौड़ीकरण का काम तत्काल शुरू कर दिया। प्रोजेक्ट के मुताबिक ये मार्ग व्यस्त यातायात की वजह से जाम से ग्रसित रहता था अब इसे चौड़ा करके 6 लेन का बनाया जा रहा है। उत्तराखंड के प्रवेश द्वार के पहले चौराहे और यहां खटीमा-पानीपत और दिल्ली-अल्मोड़ा हाईवे मिलता है जिस कारण इस पर भारी यातायात चलता है। इस मजार को हटाने से पहले पुलिस प्रशासन ने कड़ी सुरक्षा लगाई थी और विद्युत आपूर्ति बंद करके जेसीबी मशीनों की रोशनी पर काम किया और आधे घंटे में इस काम को पूरा कर सड़क चौड़ीकरण का काम शुरू कर दिया। एडीएम पंकज उपाध्याय ने बताया कि एनएच के अभियंताओं ने इस मार्ग को चौड़ा करने में आ रही बाधाओं का जिक्र किया था जिस पर आज उन्होंने कार्रवाई की गई। रोड चौड़ी कर चौराहे पर यातायात के प्रेशर को कम किया जाएगा। उल्लेखनीय है कि उत्तराखंड की धामी सरकार अभी तक 534 ऐसी अवैध संरचनाओं को हटा चुकी है

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